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हाल ही में राहुल गाँधी ने एक बयान में कहा की “जब भी मैं बोलूंगा तो भूकंप आएगा” ! केंद्रीय गृह मंत्री श्री राजनाथ जी ने जबाब दिया, “की राहुल कही बार बोले लेकिन एक बार भी भूकंप तो दूर हवा तक नहीं चली” ! एक सज्जन ने तो दो कदम आगे बढ़ते हुए कहा, “ये राहुल क्या भूकंप लाएगा, पिछले ७० सालों तक तो इनकी पूरी टीम सीवर का खुला ढकन तो बंद नहीं कर पायी, ये अकेला चला है भूकंप लाने ! कुछ पाठकों ने राहुल की इस बात के लिए बड़ी चुटकी ली ! एक ने लिखा की भय्या भूकंप तो देश में उस दिन भी आया था जब भारतवासियों ने सुना था की ‘ बोफर्स गनों की खरीदारी में देश के वरिष्ठ उच्च कुर्सी पर बैठे नेता ने ‘अपने रिश्तेदार को साथ लेकर ६४ करोड़ दलाली में लिए हैं’, उस दिन भी बड़े जोर शोरों का तूफ़ान उठा था जिस दिन बहुत पुरानी पार्टी के अध्यक्ष और उपाध्यक्ष नॅशनल हैराल्ड घोटाले में कोर्ट में पेशी पर हाजिर हुए थे ” !
राहुलजी ये बताओ की इससे बड़ा जलजला कब आएगा जो वीवीआईपी हेलीकाफ्टर खरीदारी में इटली की कंपनी वेस्टलैंड से ३६२ करोड़ की कमीशन राशि ली गयी, इसमें भूतपूर्व एअर चीफ श्री यस पी त्यागी, उनके चचेरे भाई वकील, इस घोटाले में सामिल होने पर पुलिस द्वारा गिरफ्तार किये गए हैं, पुलिस इनसे पूछ ताछ कर रही है, २०१० की केंद्रीय सरकार के बड़े बड़े मगरमच्छ इस जाल में फंसते नजर आरहे हैं, अफवाह तो यहां तक है की इस कमीशन के शेयर करने वाले भी ऊंची नाक वाले ही लोग हैं, नाम जल्दी ही जन साधारण को पता चल जाएगा ! जनता पूछ रही है राहुल बाबा से “क्या इस खबर से आपको और आपकी पार्टी को भूकंप का अहसास नहीं हुआ ! झटका नहीं लगा कि आपकी दादी के पिता जी, आजादी मिलते ही गांधी जी की कृपा से गरीब देश भारत के प्रथम प्रधान मंत्री बने थे, उनके कपडे पेरिस से धुल कर आते थे और मंहगी सिगरेट हवाई जहाज से उन तक पहुंचाई जाती थी ! आज सता छिन गयी आपको किसानों और गरीब की याद आगई !
इनका एक बयान आया था की मोदीजी ने ५००-१००० के नोट बंदी से देश में आपातकाल जैसी स्थिति पैदा कर दी है, ‘हमें संसद में बोलने नहीं दिया जाता’ ! लगता है की राहुलजी को किसी ने आपातकालीन की सही जानकारी नहीं दी की उन्हीं की दादी ने 19७५ से १९७७ तक देश में एमरजेंसी लगाई थी और कितनी असहाय और निर्दोष जिंदगियां इस आपातकाल के दिनों काल के गाल में समा गयी थी, उनका दोष किसके सिर पर थोपा जाय, कौन जनता से इस घृणित कार्य के लिए क्षमा मांगेगा ? यह सवाल जनता कांग्रेस के गुलाम नवी आज़ाद जैसे बड़े कद के नेताओं से पूछ रही है, जो सरकार से बैंकों के आगे खड़ी भीड़ में कुछ लोगों के मरने पर हाय तोबा मचा रहे हैं और संसद में हंगामा करके संसद के दोनों सदनों में कामों में रुकावट पैदा कर रहे हैं, इस अकारण शोर शराबे के लिए देश के राष्ट्रपति ने विपक्ष के कुकृत्यों पर अपनी अप्रशन्नता जाहिर की, लेकिन ये इतने ढीट हैं की राष्ट्रपति की नाराजी पर भी इन्होंने लोकतंत्र की परम्पराओं को ताक पर रख लिया है ! क्या गुलाम नवी साहब बताएंगे की तमिलनाडु में दिवगंत पूर्व मुख्य मंत्री की मौत के सदमें से २०० के करीब लोगों ने आत्म हत्याएं की उनका जिम्मेदार कौन है ?
जब बिहार के मुख्य मंत्री ने ५००-१००० रुपयों की बंदी पर अपनी ख़ुशी जताई और ममता बनर्जी के भारतबंद में शामिल होने से इनकार कर दिया तो उन्हें ममता बनर्जी ने ‘गद्दार बता दिया ! आज के नेताओं में स्वच्छ छबि वाले राष्ट्रीय स्तर के राजनेताओं में एक नाम नीतीश कुमार जी का भी है, लेकिन ममता जी इस रेस में कहीं भी नजर नहीं आती ! यहां तक खबर मिली है की उनकी कार में उनके सुरक्षा कर्मी नकली नोटों को एक स्थान से दूसरे स्थान हस्तान्तरित करते हैं !पता नहीं बाबा रामदेव जी ने ममता जी को स्वच्छ छबि का खिताब कैसे दे दिया, क्या उन्हें भी डर था की कहीं ममता बनर्जी उन्हें भी कोई अपशब्द न कह दे !
इस नोट बंदी से काला धन तो बाहर आही रहा है साथ ही बैंकों में छिपे बड़ी संख्यां में काली भेड़ें और उनका काला धन पतियों से नजदीकियों का भी भंडा होगया है ! बड़ी संख्या में ये काली भेड़ें जो अभी तक बैंक मैनेजर- कर्मचारियों का मुखौटा पहिने हुए करोड़ों अरबों रुपयों का वारा न्यारा कर रहे थे और २० से ५० % कमीशन लेकर इन काले धन कुबेरों का काला धन सफ़ेद करने में मदद कर रहे थे, अब जेलों में चक्की पीस रहे हैं ! जो विपक्ष वाले हतास होकर संसद में सरद कालीन छत्र में हंगामा कर रहे हैं, संसद का काम नहीं होने दे रहे हैं, उनके काले कारनामों को जनता देख रही है ! जनता तो यह भी जान गयी है की बैकों के आगे लंबी लंबी लाइनों में आम लोगों की परेशानी का कारण भी विपक्ष ही है जो मोदीजी के इस भ्रष्टाचार के खिलाफ छेड़े गए अभियान को असफल कराने का भरषक प्रयास कर रहे हैं ! चलो कुछ दिनों की परेशानी और है फिर bवाले चुनाव निष्पक्ष होंगे, न पार्टियों द्वारा मतदाता को पैसों से खरीदा जा सकेगा और न झूठे आश्वासनों से बरगलाया ही जा सकेगा !!
उत्तर प्रदेश में अगले विधान सभा चुनावों के लिए एसपी प्रत्याशियों की लिस्ट पर चाचा भतीजे की फिर खींच तान शुरू होगयी है, चाचा ने लिस्ट में उन अफराधियों को भी एसपी का प्रत्यासी बनाया है जिनके खिलाफ ह्त्या किडनेपिंग जैसे संगीत जुर्म अदालतों में विचाधीन हैं ! भतीजा जो स्वयं प्रदेश का मुख्य मंत्री है, इस लिस्ट से सहमत नहीं है !
हाल ही में तमिल नाडु की मुख्या मंत्री और लोक प्रिया नेता श्रीमती जयललिता का लंबी बीमारी से स्वर्गवास होगया ! उनकी मौत से तमिलनाडु की जनता को ऐसा लगा जैसे उन्होंने अपनी सबसे प्रिय वस्तु खो दी हो, दो सौ के करीब उनके चाहने वालों ने आत्मा ह्त्या करके उनके प्रति अपनी निष्ठा का प्रमाण दे दिया ! किसी भी प्रदेश में अभी तक इतनी इतनी लोक प्रिया नेता का नाम सुनने में नहीं आया है ! भगवान् ऐसी शुद्ध पवित्र और जन जन के दिलों में अपनी छवि स्थापित करने वाली आत्मा को स्वर्ग में शांति प्रदान करे !
आज के ताजे जलते बलते समाचार समाप्त हुए, कल नए समाचारों के साथ आपके सामने फिर हाजिर होंगे हरेंद्र
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